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हर एक नारी की इज्ज़त
” हर एक नारी की इज्ज़त बरकरार रहेगी 👸 अगर कोई इंसान बनने से पहले
आज़ाद ख्याली रहे.
आज़ाद ख्याली रहे…भले ही हम और गुमनाम रहे उनसे अच्छे हैं जो अपनी दुकानों के
ज़ख्म हैं……गम हैं…रुसवाई है
ज़ख्म हैं……गम हैं…रुसवाई है विपुल तूने अजब शायरी बनाई है किसी के साथ चलने का
भृष्टाचार
लघुकथा: भृष्टाचार दलालों को पता है मृग सोने का हो तो बीवी की इच्छा बता
माटी भी तो माँ है—-राजेश पाल सिंह
माटी भी तो माँ है माटी भी तो माँ है , माटी से ही हमारा
इंटरभ्यू का चक्कर
– अंकुश्री ‘‘विजय बाबू का पता ठीक से रख लिया है न ? उन्हीं के
किसी को हार मिली यहाँ
किसी को हार मिली यहाँ किसी के हिस्से जीत रही। वसुधैव कुटुंबकम की जहाँ सनातन
एक राजा की कहानी(बाल कविता)—–शशांक मिश्र भारती
एक राजा की कहानी शशांक मिश्र भारती आओ बच्चों तुम्हें सुनायें एक राजा की कहानी